चीनी एप बंद होते ही भारतीय aएप कंपनियों के लिए संभावनाओं के दरवाजे खुल गए हैं। इनमें सबसे ज्यादा फायदा मशहूर टिकटॉक जैसे फीचर्स वाली देसी एप्लीकेशनों को हुआ है। इनमें दो प्रमुख एप रोपोसो और चिंगारी के तो देखते ही देखते लाखों डाउनलोड हो गए हैं। रोपोसो की बात करें, तो टिकटॉक पर बैन के बाद सिर्फ दो दिनों में इसके 2.2 करोड़ डाउनलोड हुए हैं।
वहीं, चिंगारी भी बीते कुछ दिनों में 1.1 करोड़ के आंकड़े को पार कर गई है। टिकटॉक बैन की घोषणा के तुरंत बाद इसके 30 मिनट में 10 लाख तक डाउनलोड दर्ज किए गए। 30 जून शाम पांच से रात नौ बजे तक तो चिंगारी को प्रति घंटा तीन से छह लाख बार डाउनलोड किया गया, जबकि लॉन्च होने के डेढ़ साल बाद तक यह बमुश्किल एक लाख का आंकड़ा छू पाई थी।
10 करोड़ का आंकड़ा पार करने की उम्मीद
चिंगारी के सहसंस्थापक सुमित घोष का कहना है, प्रति घंटा छह लाख डाउनलोड कभी फेसबुक एप के भी नहीं हुए होंगे। रोपोसो के संस्थापक मयंक भानगढ़िया ने कुछ दिनों में एप के 10 करोड़ का आंकड़ा पार करने की उम्मीद जताई है। 2014 से एंड्रॉयड पर मौजूद रोपोसो के अभी आठ करोड़ से ज्यादा डाउनलोड हैं।
टिकटॉक बंद होने से पहले इसके पांच करोड़ डाउनलोड थे। टिकटॉक के भारत में 20 करोड़ से ज्यादा यूजर्स थे। उद्योगपति आनंद महिंद्रा के 28 जून के एक ट्वीट से चिंगारी को ज्यादा पहचान मिली। महिंद्रा ने बताया, मैंने टिकटॉक का कभी उपयोग नहीं किया, लेकिन इस देसी एप का समर्थन करते हुए डाउनलोड किया है।
बढ़ती मांग से तकनीकी जरूरतें पूरा करने के लिए रोपोसो और चिंगारी के मालिकों की नींद उड़ी हुई है। मयंक का कहना है, वह बीते कुछ दिनों में 5-7 घंटे ही सो पाए हैं। यही हाल सुमित घोष का है। उनका कहना है, एकदम डाउनलोड बढ़े तो वह और उनकी टीम 48 घंटे तक सो ही नहीं पाई। एक करोड़ डाउनलोड उनके लिए किसी सपने के पूरे होने जैसा है।
मित्रों डेढ़ करोड़ पार
रोपोसो व चिंगारी के अलावा मित्रों एप भी लोकप्रियता बटोर रहा है। गूगल प्ले स्टोर पर पिछले तीन माह में इसके 1.7 करोड़ डाउनलोड हुए हैं। टिकटॉक बैन होने के बाद से इस एप के दैनिक ट्रैफिक में 11 गुना तेजी आई है।